इस आर्टिकल में हम सुल्तान खान का जीवन परिचय |Sultan Khan ka Jeevan Parichay पढेंगे, तो चलिए विस्तार से पढ़ते हैं सुल्तान खान जी का जीवन परिचय| Biography of Sultan Khan in Hindi –
विषय-सूची
सुल्तान खान का जीवन परिचय – (संक्षिप्त परिचय)
पूरा नाम | सुल्तान खान |
जन्म – स्थान | 15 अप्रैल 1940 ई०, जयपुर, राजस्थान |
मृत्यु – स्थान | 27 नवम्बर 2011 ई०, मुंबई, महाराष्ट्र |
पिता | गुलाब खान |
माता | कोई साक्ष्य प्रमाण प्राप्त नहीं है। |
पत्नी | बानो खान |
संतान | साबिर खान (पुत्र) और रेशमा तथा शेरा (पुत्रियां) |
पुरस्कार | पद्मभूषण, संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार, अमेरिकन अकादमी ऑफ आर्टिस्ट अवार्ड |
प्रसिद्धि | सारंगी वादक |
सुल्तान खान भारत के प्रसिद्ध सारंगी वादक और शास्त्रीय गायक थे। वह ‘इन्दौर घराना’ से सम्बन्धित थे। उन्हें देश में सारंगी को पुनजीर्वित करने का श्रेय दिया जाता है। सारंगी के उस्ताद और हृदय को छूने वाले ‘पिया बसंती रे’ तथा ‘अलबेला सजन आयो रे’ सरीखे गीतों को अपनी आवाज देने वाले उस्ताद सुल्तान खान को हिंदी संगीत जगत में विशेष सम्माननीय दर्जा प्राप्त है। उन्हें भारत के तीसरे सबसे बड़े नागरिक सम्मान ‘पद्मभूषण’ से वर्ष 2012 में सम्मानित किया गया।
जन्म – स्थान
सुलतान खान जी का जन्म 15 अप्रैल 1940 ई० को सीकर, जयपुर (राजस्थान) में हुआ था।
माता – पिता
सुलतान खान जी के पिता का नाम गुलाब खान था | तथा माता के नाम में कोई साक्ष्य प्रमाण प्राप्त नहीं है।
शिक्षा
सुल्तान खान ने सारंगी वादन का प्रारंभिक ज्ञान अपने पिता से ही प्राप्त किया, था। जब वे मात्र ग्यारह साल के थे, तभी से स्टेज पर प्रस्तुति देने लगे थे।
विवाह
सुलतान खान जी का विवाह बानो खान के साथ हुआ था |
परिवार और संतान
उस्ताद सुल्तान खांन के परिवार में उनकी दूसरी पत्नी बानो खान, पुत्र साबिर खान तथा दो पुत्रियां रेशमा तथा शेरा हैं। पुत्र साबिर खान भी मशहूर सारंगी वादक हैं। सुल्तान खान के भाई नियाज अहमद खान एक सितार वादक हैं।
बड़ी हस्तियों के साथ कार्य- उस्ताद सुल्तान खान ने भारतीय संगीत के क्षेत्र में प्रसिद्ध कई बड़ी हस्तियों के साथ कार्य किया। उन्होंने सुर कोकिला लता मंगेशकर, | तबला वादक अल्ला रक्खा खान व जाकिर हुसैन, बांसुरी वादक हरिप्रसाद चौरसिया और संतूरवादक पंडित शिव कुमार शर्मा को भी अपनी कला से प्रभावित किया।
अंतर्राष्ट्रीय कार्यक्रमों में शिरकत – उस्ताद सुल्तान खान भारत में फ्यूज़न संगीत समूह ‘तबला बीट साइंस’ के सदस्य रहे थे। तबला बीट साइंस में उनके अलावा भारत के जाने माने तबला वादक उस्ताद जाकिर हुसैन और बिल लास्वेल भी सदस्य रहे। इसके साथ ही पंडित रविशंकर और मशहूर बैंड ‘द बीटल्स’ के साथ भी उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय संगीत कार्यक्रमों में हिस्सा लिया।
प्रसिद्धि
विश्व प्रसिद्ध पॉप क्वीन मैडोना के एल्बम के लिए भी सुल्तान खान ने सारंगी बजाई। मशहूर फिल्म निर्माता और ऑस्कर विजेता रिचर्ड एटनबरों की फिल्म ‘गांधी’ में भी सुल्तान खान की सारंगी सुनाई दी थी। गायिका चित्रा के ‘पिया बसंती’ एल्बम को एमटीवी का ‘इंटरनेशनल वीवर्स च्वाइस अवार्ड’ भी मिला था।
पुरस्कार व सम्मान
उस्ताद सुल्तान खान ‘पद्मभूषण’ के साथ ही दो बार ‘संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार’ और महाराष्ट्र के ‘स्वर्ण पदक पुरस्कार’ से भी नवाजे गए थे। वर्ष 1998 में उन्हें ‘अमेरिकन एकेडमी ऑफ आर्टिस्ट अवार्ड’ से भी सम्मानित किया गया था। |
निधन
शास्त्रीय संगीत अकादमी के क्षेत्र में अपनी खास पहचान बनाने वाले, सारंगी को विशेष प्रसिद्धि दिलाने वाले उस्ताद सुल्तान खान का 27 नवम्बर, 2011 को मुंबई, महाराष्ट्र में निधन हुआ।
इसे भी पढ़ें –
Leave a Reply